धनबाद । सिद्धो-कान्हो कृषि एवं वनोपज जिला सहकारी संघ लिमिटेड द्वारा मल्टी परपज कॉ-ओपरेटिव सोसाइटी (एमपीसीएस) के सशक्तिकरण पर मंगलवार को कला भवन के सामने स्थित विवाह भवन में एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया।
इसका उद्घाटन मुख्य अतिथि सह वन प्रमंडल पदाधिकारी विकास पालीवाल, विशिष्ट अतिथि निदेशक डीआरडीए राजीव रंजन, जिला पंचायती राज पदाधिकारी मुकेश कुमार बाउरी, सहायक निदेशक सामाजिक सुरक्षा नियाज अहमद, जिला आपूर्ति पदाधिकारी पंकज कुमार, जिला सहकारिता पदाधिकारी वेद प्रकाश सहित अन्य अतिथियों ने दीप प्रज्वलित कर किया।
इस अवसर पर वन प्रमंडल पदाधिकारी ने कहा कि सिद्धो-कान्हो कृषि एवं वनोपज जिला सहकारी संघ लिमिटेड (सिद्धकोफेड) एक राज्य स्तरीय शीर्ष सहकारी संस्थान है, जो कृषि पशुपालन एवं सहकारिता विभाग (सहकारिता प्रभाग) झारखण्ड सरकार से निबंधित है। उन्होंने कहा इसका दायित्व कृषि एवं वनोपज की खरीद, भंडारण, प्रसंस्कारण और विपणन, बीज, उर्वरक, कीटनाशक आदि का इनपुट व्यवसाय, कृषि अवसंरचना के लिए वेयर हाउस, गोदाम, कोल्ड स्टोरेज, प्रसंस्करण ईकाइयों, राईस मिल इत्यादि है।
साथ ही शीर्ष संगठनों एवं निजी कंपनियों के साथ विपणन हेतु संस्थागत सहयोग करना, सहकारी योजनाओं से संस्थागत अनुदान एवं अवसंरचना हेतु अभिसरण तथा लाह, शहद आदि के उत्पादन में वृद्धि सहित अन्य गतिविधियां है।
इस अवसर पर जिला सहकारिता पदाधिकारी ने बताया कि कृषि एवं लघु वनोपज के संग्रहण एवं विपणन के उद्देश्य से राज्य में सिद्धो-कान्हो कृषि एवं वनोपज जिला सहकारी संघ लिमिटेड का गठन वर्ष 2021 में किया गया। इसी तर्ज पर 2021 में धनबाद जिला सहकारी संघ का गठन किया गया। इसमें निबंधन के समय 22 सदस्य थे। वर्तमान में 30 पैक्स इससे सम्बद्ध हैं।
कहा जाता राज्य के मल्टी परपज कॉ-ओपरेटिव सोसाइटी सिद्धकोफेड की सदस्यता प्राप्त कर संचालित योजनाओं से लाभान्वित हो सकते है। साथ ही कहा जिले के कृषक पाठशाला में मल्टी परपज कॉ-ओपरेटिव सोसाइटी से जुड़े कृषकों को बकरी, बतख, गौ, सुकर, मुर्गी, मधुमक्खी, मत्स्यपालन एवं ऑर्गेनिक खेती, लाह की खेती, मशरूम की खेती इत्यादि विषयों पर जिला संघ द्वारा प्रशिक्षण की सुविधा मुहैया कराने का निर्णय लिया गया है।
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