ज्यादा उम्र में ओस्टियोपोरोसिस, थकान व मूड में बदलाव से बचने के लिए Vitamin D, हार्मोन व हड्डियों का नियमित निरीक्षण जरूरी है। जानें विशेषज्ञ की सलाह।
स्वस्थ व् वृद्धावस्था के लिए जरूरी है हार्मोन,Vitamin D स्तर और हड्डियों की मजबूती पर ध्यान देना
जैसे-जैसे उम्र बढ़ती है, शरीर का हार्मोन बैलेंस, Vitamin D का स्तर, और हड्डियों की मजबूती हमारे संपूर्ण स्वास्थ्य, ऊर्जा और सक्रियता को प्रभावित करती है। विशेषज्ञों के अनुसार, नियमित जांच और मॉनिटरिंग से उम्रदराज़ लोगों को ओस्टियोपोरोसिस, मसल वीकनेस, थकान और मूड चेंज जैसी समस्याओं से बचाव में मदद मिलती है।
Vitamin D और बोन स्ट्रेंथ क्यों है जरूरी?
Vitamin D की नियमित जांच अर्ली डिटेक्शन में मदद करती है और हड्डियों की मजबूती बनाए रखने में अहम भूमिका निभाती है। Vitamin D की कमी से हड्डियाँ कमजोर हो सकती हैं, जिससे उम्र बढ़ने पर फ्रैक्चर या अन्य जटिलताएं बढ़ती हैं। मसल वीकनेस, जल्दी थकान और मूड स्विंग्स भी विटामिन D व हार्मोन असंतुलन के लक्षण हैं।
हार्मोन बैलेंस और उम्रदराज़ स्वास्थ्य
शरीर में उम्र के साथ हार्मोन स्तर बदलते हैं, जिससे कई बार मेटाबॉलिज्म, नींद, मानसिक स्थिति और इम्यूनिटी प्रभावित होती है। डॉक्टरों का कहना है कि नियमित जांच, संतुलित डाइट, और योग/व्यायाम इन बदलावों को संतुलित रखने में मददगार हैं।
रखें ये उपाय:
- विटामिन D, कैल्शियम और हार्मोन का नियमित टेस्ट
- हड्डियों की मजबूती के लिए वजन-रोधक एक्सरसाइज
- संतुलित आहार जिसमें दूध, दही, पनीर, हरी सब्जियाँ और मेवा शामिल हों
- धूप में उचित समय बिताएं
- डॉक्टर की सलाह से सप्लीमेंट लें
FAQs
प्र1. कौन-सा टेस्ट बुज़ुर्गों के लिए जरूरी हैं?
विटामिन D, कैल्शियम और हार्मोन प्रोफाइल।
प्र2. हड्डियों की जांच कैसे करें?
बोन डेंसिटी टेस्ट या DEXA स्कैन से।
प्र3. विटामिन D की कमी के लक्षण क्या हैं?
हड्डियों में दर्द, थकान, मूड बदलना और मसल वीकनेस।
प्र4. क्या केवल सप्लीमेंट्स से फायदा होगा?
सप्लीमेंट्स के साथ संतुलित डाइट और सूर्य किरणें भी जरूरी हैं।
प्र5. कैसे उम्रदराज़ लोग हड्डियों को मजबूत रख सकते हैं?
नियमित व्यायाम, कैल्शियम और विटामिन D युक्त भोजन से।
प्र6. क्या मानसिक स्वास्थ्य भी हार्मोन असंतुलन से प्रभावित होता है?
हां, हार्मोन असंतुलन में मूड व मानसिक स्थिति में बदलाव होता है।
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