यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जिलाधिकारियों को अवैध घुसपैठियों की पहचान कर डिटेंशन सेंटर में रखने और प्रक्रिया पूरी होने तक वहां रखने के निर्देश दिए हैं।
यूपी में अवैध घुसपैठियों के लिए हर जिले में डिटेंशन सेंटर स्थापित करने का निर्णय
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राज्य के सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि वे अपने-अपने क्षेत्रों में रहने वाले अवैध घुसपैठियों की तुरंत पहचान करें और नियमों के अनुसार कड़ी कार्रवाई करें। उन्होंने अवैध गतिविधियों को पूरी तरह बर्दाश्त न करने की चेतावनी दी है।
डिटेंशन सेंटर का प्रावधान
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया है कि प्रत्येक जिले में अवैध घुसपैठियों को रखने के लिए अस्थाई डिटेंशन सेंटर स्थापित किए जाएं। इन केंद्रों में विदेशी नागरिकों को रखा जाएगा और आवश्यक सत्यापन प्रक्रिया पूरी होने तक उनका यहां रहना सुनिश्चित किया जाएगा।
निष्पक्ष और त्वरित कार्रवाई
योगी आदित्यनाथ ने स्पष्ट किया कि जो भी अवैध घुसपैठिए डिटेंशन सेंटरों में पकड़े जाएंगे, उन्हें उनके मूल देश के लिए डिपोर्ट किया जाएगा, और यह प्रक्रिया नियमों के अनुसार पूरी की जाएगी।
राज्य की सीमाएं और सुरक्षा
उत्तर प्रदेश की खुली सीमा नेपाल के साथ है, जिससे दोनों देशों के नागरिकों को मुक्त आवागमन की सुविधा मिलती है, लेकिन अन्य राष्ट्रीयताओं के निवासियों की कड़ी जांच की जाती है।
FAQs:
- अवैध घुसपैठियों की पहचान और कार्रवाई का आदेश किसने दिया?
उत्तर: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ। - अवैध घुसपैठियों को कहां रखा जाएगा?
उत्तर: हर जिले में बनाए जाने वाले डिटेंशन सेंटरों में। - क्या अवैध घुसपैठियों को उनके देश वापस भेजा जाएगा?
उत्तर: हां, नियमों के अनुसार डिपोर्ट किया जाएगा। - यूपी की किन सीमाओं पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है?
उत्तर: नेपाल के साथ खुली सीमा। - अवैध घुसपैठियों के खिलाफ कार्रवाई का उद्देश्य क्या है?
उत्तर: कानून-व्यवस्था, राष्ट्रीय सुरक्षा और सामाजिक समरसता को बनाए रखना।
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