चीन ने ट्रंप के गुप्त परमाणु परीक्षण के आरोपों को खारिज कर कहा कि वह ‘नो फर्स्ट यूज’ नीति का सख्ती से पालन करता है।
ट्रंप की दावों के बाद चीन का जवाब, कहने लगा- हम शांति और जिम्मेदार चीन की नीति का पालन करते हैं
चीन ने सोमवार को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के उन दावों को खारिज कर दिया है, जिसमें उन्होंने आरोप लगाया था कि चीन ने गुप्त रूप से परमाणु टेस्ट किया है। चीनी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता माओ निंग ने कहा कि चीन हमेशा शांति और जिम्मेदाराना परमाणु नीति का समर्थन करता रहा है और अपने नो फर्स्ट यूज स्ट्रेटजी का पालन करता है।
माओ ने कहा, “चीन ने हमेशा अपने परमाणु हथियारों का रक्षा के लिए ही उपयोग किया है, और कभी भी पहले हमला करने का निर्णय नहीं लिया है। हमारा परमाणु नीति पूरी तरह से शांतिपूर्ण विकास के आधार पर आधारित है।” उन्होंने यह भी कहा कि चीन अपने सभी अंतरराष्ट्रीय प्रतिबद्धताओं का कड़ाई से पालन करता है और उसकी परमाणु नीति हमेशा से ही जिम्मेदार रही है।
यह बयान उस समय आया है जब अमेरिका ने इस तरह के आरोप लगाए हैं, और ट्रंप ने कहा है कि चीन और रूस भूमिगत परमाणु परीक्षण कर रहे हैं। चीन ने इन सभी आरोपों को झूठा बताते हुए कहा कि वह अपनी ‘नो फर्स्ट यूज’ नीति का पूर्ण पालन करता है और पूरी दुनिया में शांति एवं सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है।
गौरतलब है कि चीन अपने परमाणु हथियारों को मुख्यत: रक्षा और शांति वाले उद्देश्यों के लिए ही विकसित करता रहा है, और वह अंतरराष्ट्रीय संसाधनों के तहत सभी प्रतिबंधों का सम्मान करता है।
FAQs
- ट्रंप ने चीन पर क्या आरोप लगाए थे?
उन्होंने कहा कि चीन ने गुप्त रूप से परमाणु परीक्षण किया है। - चीन का क्या जवाब था?
चीन ने इन आरोपों को आधारहीन बताते हुए कहा कि वह ‘नो फर्स्ट यूज’ नीति का पालन करता है। - चीन की परमाणु नीति क्या है?
यह पूरी तरह से शांतिपूर्ण और रक्षा आधारित है, और कभी भी पहले हमला करने का प्रयास नहीं करता। - चीन अपने परमाणु हथियारों का उद्देश्य क्या बताता है?
मुख्यत: रक्षा और सुरक्षा, शांति बनाए रखने के लिए। - चीन और अमेरिका के बीच हाल की तनावपूर्ण स्थिति का क्या कारण है?
अमेरिका ने चीन और रूस पर परमाणु परीक्षण के आरोप लगाए हैं, जिसका चीन ने कड़े शब्दों में खंडन किया है।
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