NSE ने 28 अक्टूबर से निफ्टी-50 और अन्य इंडेक्स डेरिवेटिव्स के लॉट साइज में कमी कर दी है, जिससे छोटे निवेशकों को लाभ मिलेगा।
NSE ने निफ्टी और अन्य इंडेक्स के लॉट साइज को घटाकर निवेशकों को राहत दी
नेशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) ने अक्टूबर 28 से निफ्टी-50 और अन्य इंडेक्स डेरिवेटिव्स के लॉट साइज में कटौती कर दी है। इस कदम का उद्देश्य छोटे निवेशकों को अधिक सुलभ और सस्ते में ट्रेडिंग की सुविधा देना है, जिससे निवेश का माहौल और ज्यादा आकर्षक और सरल बन सके।
- NSE ने निफ्टी-50, बैंक निफ्टी, जैसे प्रमुख इंडेक्स के साथ-साथ अन्य सेक्टर इंडेक्स के लॉट साइज को घटाया है।
- अब निवेशक कम पूंजी में अधिक ट्रेड कर सकते हैं, जिससे बाजार में भागीदारी बढ़ेगी।
- यह बदलाव विशेष रूप से रिटेल निवेशकों के लिए फायदेमंद है, जो छोटी-छोटी रकम से निवेश शुरू करना चाहते हैं।
यह कदम बाज़ार की पारदर्शिता, सस्ती और आसान ट्रेडिंग को बढ़ावा देगा। इसके साथ ही, NSE ने अपने प्लेटफार्म पर इन बदलावों को प्रभावी रूप से लागू करने का एलान किया है, जिससे बाजार में कामकाज में सुधार आएगा।
FAQs
- NSE ने कब से लॉट साइज घटाए हैं?
28 अक्टूबर से। - लॉट साइज घटाने का मकसद क्या है?
छोटे निवेशकों को आसान और सस्ती ट्रेडिंग उपलब्ध कराना। - इससे व्यापारिक मात्रा पर क्या प्रभाव पड़ेगा?
संभावित रूप से बढ़ेगा, क्योंकि कम पूंजी में अधिक ट्रेड संभव हैं। - कौन-कौन से इंडेक्स प्रभावित होंगे?
निफ्टी-50, बैंक निफ्टी, और अन्य बड़े इंडेक्स। - इस बदलाव का निवेशकों को क्या लाभ होगा?
कम निवेश में अधिकाधिक ट्रेडिंग के अवसर। - क्या यह कदम किसी खाते का न्यूनतम निवेश सीमा भी बदलेगा?
अभी इसकी घोषणा नहीं हुई है, लेकिन निश्चित तौर पर ट्रेडिंग का माहौल बदलेगा।
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