राजनाथ सिंह ने पाक सेना प्रमुख के सशस्त्र बलों के सर्वोच्च पद पर खुद को पदोन्नत करने पर तंज कसा और भारत के ऑपरेशन सिंदूर पर विस्तार से बताया।
राजनाथ सिंह का पाकिस्तान पर कटाक्ष, कहा- पाकिस्तान पर भरोसा नहीं किया जा सकता
भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने शुक्रवार को पाकिस्तान सेना प्रमुख जनरल आसिम मुनिर के फील्ड मार्शल पदोन्नति पर तीखा तंज कसते हुए कहा कि यह पदोन्नति उन्होंने खुद अपने लिए ले ली है। उन्होंने कहा, “Promotion तो उन्होंने ले लिया,” और साथ ही यह भी जोड़ा कि “पाकिस्तान पर भरोसा नहीं किया जा सकता।”
पाकिस्तान सरकार ने आसिम मुनिर को उनकी हालिया भारत के साथ संघर्ष में साहसिक नेतृत्व और रणनीति के लिए फील्ड मार्शल के पद पर पदोन्नत किया है। यह पद पाकिस्तान के इतिहास में इस स्तर पर दूसरे वरिष्ठ सैन्य अधिकारी को मिला है।
इस पदोन्नति की घोषणा प्रधानमंत्री शाहबाज शरीफ की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक के बाद की गई थी। 1959 में जनरल आयूब खान को पाकिस्तान के परम सैन्य पद पर पहली बार पदोन्नत किया गया था।
राजनाथ सिंह ने नेटवर्क18 के राहुल जोशी के साथ बातचीत में ऑपरेशन सिंदूर के बारे में विस्तार से जानकारी दी और पाकिस्तान के साथ सीजफायर में कोई तीसरे पक्ष की भूमिका होने के दावों को पूरी तरह खारिज कर दिया।
उन्होंने अमेरिका के तत्कालीन राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के उन दावों पर प्रतिक्रिया दी जिसमें उन्होंने कहा था कि पाकिस्तान, रूस, चीन और उत्तरी कोरिया जैसे देशों ने गुप्त रूप से नाभिकीय हथियारों का परीक्षण किया है। राजनाथ सिंह ने कहा कि जो चाहे करें, भारत आवश्यक प्रतिक्रिया समय पर देगा।
उन्होंने कहा, “जो चाहे करें, केवल भविष्य ही बताएगा कि भारत क्या करेगा। हम किसी दबाव या डर में नहीं काम करते। भारत अपनी रणनीति के अनुसार उचित कार्रवाई करेगा।”
FAQs:
- आसिम मुनिर को फील्ड मार्शल कब और क्यों पदोन्नत किया गया?
- हालिया भारत के साथ संघर्ष में उनके साहसिक नेतृत्व के लिए पदोन्नत किया गया।
- राजनाथ सिंह ने पाक सेना प्रमुख की पदोन्नति पर क्या प्रतिक्रिया दी?
- उन्होंने कहा कि पदोन्नति उन्होंने खुद ले ली और पाकिस्तान पर भरोसा नहीं किया जा सकता।
- ऑपरेशन सिंदूर क्या था और इसमें तीसरे पक्ष की भूमिका थी?
- राजनाथ सिंह ने कहा कि कोई तीसरा पक्ष इस ऑपरेशन में शामिल नहीं था।
- भारत नाभिकीय हथियार परीक्षणों पर क्या प्रतिक्रिया देगा?
- भारत अपनी रणनीति के अनुसार सही समय पर उचित कार्रवाई करेगा।
- प्रधानमंत्री शाहबाज शरीफ की भूमिका क्या थी?
- उन्होंने कैबिनेट की बैठक की अध्यक्षता की जिसमें आसिम मुनिर की पदोन्नति का निर्णय लिया गया।
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