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काला सागर में यूक्रेनी ड्रोन हमले के बीच रूसी तेल टैंकर में आग लगी

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Russian oil tanker on fire in Black Sea
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यूक्रेन के ड्रोन हमलों से रूस के काला सागर तटीय शहर तूअप्स में तेल टैंकर में आग लगी और तेल भंडारण सुविधाएं क्षतिग्रस्त हुईं।

रूस ने बताया: काला सागर में 71 ड्रोन गिराए, यूक्रेनी हमलों से तेल उत्पादन प्रभावित

यूक्रेन के ड्रोन हमले के तहत रूस के काला सागर क्षेत्र के बंदरगाह शहर तूअप्स में एक तेल टैंकर में आग लग गई और तेल लदान की सुविधाएं प्रभावित हुईं। इस क्षेत्र में स्थित रोसनेफ्ट की रिफाइनरी यूक्रेन के लिए रणनीतिक तौर पर महत्वपूर्ण है।

रूसी रक्षा मंत्रालय के बयान के अनुसार, क्रास्नोड़ार क्षेत्र और काला सागर में रात भर कुल 71 यूक्रेनी ड्रोन गिराए गए। स्थानीय अधिकारी और तूअप्स व नोवोरोस्सियस्क के बंदरगाहों में संभावित हमलों को लेकर सतर्कता बढ़ा दी गई है।

तुम्हारा टैंकर और इसकी डेक पर ड्रोन के टूटे हुए हिस्सों से नुकसान हुआ, जिसके कारण चालक दल को सुरक्षित निकालना पड़ा। इस घटना की वजह से सोची हवाई अड्डे, जो क्षेत्र का मुख्य हवाई परिवहन केंद्र है, को अस्थायी रूप से बंद कर दिया गया।

यूक्रेन ने हाल के महीनों में रूसी ऊर्जा बुनियादी ढांचे को निशाना बनाते हुए रिफाइनरियों, कच्चे तेल के पाइपलाइनों, और समुद्री टर्मिनलों पर हमले तेज कर दिए हैं। इसके बदले में रूसी क्रेमलिन ने यूक्रेनी गैस और विद्युत नेटवर्क पर हमले बढ़ा दिए हैं, खासकर सर्दियों के आने से पहले।

रोसनेफ्ट कंपनी अपने तूअप्स रिफाइनरी के पास एक ट्रांसशिपमेंट टर्मिनल चलाती है, जिसकी वार्षिक क्षमता लगभग 17 मिलियन टन है। यह टर्मिनल मुख्य रूप से फ्यूल ऑयल, नेफ्था, और डीजल के निर्यात के लिए प्रयोग होता है।

विशेषज्ञों का मानना है कि यूक्रेन की इस रणनीति का मकसद रूसी ऊर्जा आपूर्ति को बाधित कर रूस की सैन्य गतिविधियों को प्रभावित करना है।

FAQs

  1. किस शहर में रूसी तेल टैंकर में आग लगी?
    काला सागर के तूअप्स शहर में।
  2. कितने यूक्रेनी ड्रोन गिराए गए?
    रूसी रक्षा मंत्रालय के अनुसार, 71 ड्रोन।
  3. तेल टैंकर को किस प्रकार का नुकसान हुआ?
    टैंकर के डेक को ड्रोन के टुकड़ों से क्षति हुई और चालक दल को निकालना पड़ा।
  4. यूक्रेन ने किन क्षेत्रों में हमले तेज किए हैं?
    रूसी ऊर्जा बुनियादी ढांचों जैसे रिफाइनरी, पाइपलाइन और टर्मिनल।
  5. इस हमले का मकसद क्या हो सकता है?
    रूस की ऊर्जा आपूर्ति और सैन्य गतिविधियों को बाधित करना।

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