तंजानिया की पहली महिला राष्ट्रपति सामिया सुहुलु हसन ने 98% वोटों के साथ अपने दूसरे कार्यकाल के लिए जीत हासिल की, जबकि देश में प्रदर्शनों के बीच तनाव बना हुआ है।
सामिया सुहुलु हसन को भारी विरोध के बीच तंजानिया में दूसरी बार जीत
तंजानिया की पहली महिला राष्ट्रपति सामिया सुहुलु हसन ने 2025 के राष्ट्रपति चुनाव में लगभग 98% प्रतिशत वोट पाकर साफ बहुमत से जीत हासिल कर अपनी पांच साल की दूसरी कार्यकाल के लिए रास्ता साफ कर लिया है। इस चुनाव ने देश में भारी राजनीतिक तनाव को जन्म दिया है, जिसमें देश के कई हिस्सों में हिंसक प्रदर्शन हुए और कई लोगों की मौत की खबरें आईं।
सामिया सुहुलु हसन ने 2021 में अपने पूर्ववर्ती जॉन मगुफुली की मृत्यु के बाद सत्ता संभाली थी। इस बार के चुनाव में उनके सबसे बड़े दो प्रतिद्वंद्वी, विपक्षी पार्टियों CHADEMA और ACT-Wazalendo के उम्मीदवारों को चुनाव आयोग ने अयोग्य घोषित कर दिया था, जिससे राजनीतिक माहौल अत्यधिक विवादित हो गया।
चुनाव के दिन कई जगह मतदान केंद्रों पर प्रदर्शन हुए, सरकारी इमारतों में आगजनी हुई और पुलिस ने आंसू गैस व गोली का इस्तेमाल किया। देश में तीन दिन से कर्फ्यू लागू है और इंटरनेट सेवा बंद है, जो व्यापक रूप से विपक्षी असंतोष और नियंत्रण के लिए आलोचित किया जा रहा है।
संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार कार्यालय ने प्रदर्शन के दौरान हुई मृत्यु की घटनाओं की स्वतंत्र और निष्पक्ष जांच की मांग की है, जबकि सरकार ने विपक्ष के मौतों के आंकड़ों को अतिशयोक्ति बताया है। विदेशी मंत्री महमूद थाबित कॉम्बो ने कहा कि सुरक्षा बलों के अत्यधिक बल प्रयोग के आरोप सही नहीं हैं और हिंसा मुख्य रूप से आपराधिक तत्वों द्वारा फैलाई गई थी।
इस चुनाव में सामिया सुहुलु हसन ने मुख्य रूप से देश के बुनियादी ढांचे में सुधारों जैसे सड़क नेटवर्क, रेल लाइनें और पावर जनरेशन क्षमता बढ़ाने को केंद्रित किया। हालांकि, विपक्ष ने चुनाव को ‘राजतिलक’ करार देते हुए व्यापक विरोध का आह्वान किया।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQs):
- सामिया सुहुलु हसन कौन हैं?
- चुनाव में मुख्य विवाद क्या था?
- प्रदर्शनकारियों का आरोप क्या है?
- सरकार ने प्रदर्शन में हुई मौतों पर क्या टिप्पणी की?
- संयुक्त राष्ट्र ने क्या कहा?
- यूएन ने बल प्रयोग की जांच की मांग की और जीवन हानि पर शोक प्रकट किया।
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