डोनाल्ड ट्रम्प और शी जिनपिंग के बीच हुए समझौते के तहत अमेरिका और चीन ने व्यापार विवाद को कम करने के लिए टैरिफ, बंदरगाह शुल्क और रेयर अर्थ निर्यात पर एक वर्ष के लिए रोक लगाई।
चीन ने रेयर अर्थ निर्यात प्रतिबंध 1 साल के लिए स्थगित किए, व्यापार तनाव कम
अक्टूबर 2025 में, यूएस के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच बुसान में हुई व्यापार वार्ता का नतीजा एक महत्वपूर्ण समझौता रहा। इस समझौते ने अमेरिका और चीन की միջև लंबे समय से जारी व्यापार तनाव को टालने और कुछ प्रमुख मुद्दों पर अस्थायी समझौता करने का रास्ता खोल दिया है।
इस व्यापार समझौते के तहत, अमेरिका ने हाल ही में लगाए गए कई टैरिफों को कम करने का निर्णय किया, जिनमें फेंटेनाइल से जुड़े केमिकल की आपूर्तियों पर लगाई गई टैरिफ दर को 20% से घटाकर 10% कर दिया गया। इससे अमेरिकी आमदनी पर सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा क्योंकि कुल टैरिफ दर लगभग 57% से 47% तक आई है।
चीन ने अपनी रेयर अर्थ और मैगनेट जैसे उपयोगी खनिजों के निर्यात प्रतिबंधों को एक वर्ष के लिए निलंबित कर दिया है। ये प्रतिबंध अप्रैल 2025 और अक्टूबर 2022 में लगाए गए थे, जिन्हें इस समझौते के अनुसार ‘‘मौजूदा नियंत्रणों की अनौपचारिक हटान’’ के रूप में देखा जा सकता है। चीन ने अमेरिकी उपयोगकर्ताओं को रेयर अर्थ, गैलियम, जर्मेनियम, एंटिमनी और ग्रेफाइट सहित खनिजों के सामान्य लाइसेंस जारी करने पर सहमति जताई है।
इसके अलावा, अमेरिका ने अपने छह माह के विस्तार पर आधारित टेक निर्यात ब्लैकलिस्ट पर रोक लगा दी है, जिससे हजारों चीनी कंपनियों को प्रतिबंधों से मुक्त किया जा सकेगा। चीन ने भी मार्च 2025 से अब तक लगाए गए सभी जवाबी टैरिफों को हटाने और अमेरिकी कंपनियों के खिलाफ चल रही अंटीरस्ट और dumping जांचों को समाप्त करने का भरोसा दिया है।
समझौते में चीन ने सोयाबीन की भी न्यूनतम खरीद के लक्ष्य तय किए हैं, जिसमें 2025 के अंतिम दो महीनों में कम से कम 12 मिलियन मीट्रिक टन और अगले तीन वर्षों में हर साल 25 मिलियन मीट्रिक टन खरीद शामिल है। साथ ही, सोरघम और हार्डवुड लॉग्स की खरीद भी पुनः शुरू होगी।
बंदरगाह शुल्क को लेकर भी विवाद को खत्म करते हुए, चीन ने अपनी आपत्तियों को हटा लिया है और अमेरिका ने अक्टूबर 2025 में लागू किए गए बंदरगाह शुल्क को एक वर्ष के लिए स्थगित कर दिया है जिससे माल ढुलाई लागत और आपूर्ति श्रृंखला अनावश्यक रूप से बाधित न हों।
यह समझौता कमज़ोर लेकिन महत्वपूर्ण शिखर है, जो दोनों देशों के लिए व्यापार युद्ध को कम करने और अगले 12 महीनों के लिए स्थिरता लाने की दिशा में कदम है। दक्षिण कोरिया और जापान के साथ समुद्री मुद्दों पर बातचीत भी जारी रहेगी, जिससे क्षेत्रीय आर्थिक सहयोग को बढ़ावा मिलेगा।
(FAQs):
- इस समझौते में किन-किन मुद्दों पर सहमति बनी?
- अमेरिका ने फेंटेनाइल से जुड़े टैरिफ को कितना कम किया?
- चीन ने कौन-कौन से खनिजों के निर्यात प्रतिबंध उड़ाए?
- सोयाबीन खरीद में क्या लक्ष्य तय किए गए?
- बंदरगाह शुल्क को लेकर क्या निर्णय हुआ?
- अमेरिका ने नए शुल्क को एक वर्ष के लिए स्थगित किया, चीन ने भी अपनी आपत्तियां हटा लीं।
Leave a comment